आज रोया मै , तभी इन आंसुओं से पूछ बैठा
बता मेरी आँखों के पानी
तेरा अस्तित्व ही है क्या ?
कभी हंसने पे तू निकले
कभी रोने पे बह जाए ..|
--अक्षय ठाकुर "परब्रह्म"
आज रोया मै , तभी
कभी पास तो कभी दूर है
ये रात अभी भी बाकी है ,
I'm not afraid
I woke up ,"अनकही विस्मृत स्मृतियाँ" All Rights Reserved. Akshay Thakur